नमाज़ में जिस्मानी कसरत के फायदे भी हैं और इसमें मन को सकारात्मक विचार भी मिलते हैं


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एक्सरसाइज के मामले में भारतीय काफी पिछड़े हुए हैं। शहरों में रहने वाली हमारी आबादी का एक बेहद छोटा सा हिस्सा भी व्यायाम में दिलचस्पी नहीं लेता। जबकि दूसरी सच्चाई यह है कि भारतीय शहरों में तेजी से समृद्धि बढ़ रही है और लोग पहले से ज्यादा कैलोरी ले रहे हैं। लेकिन शारीरिक गतिविधियां कम होने से उनमें ब्लडप्रेशर, डाइबिटीज और दूसरी लाइफस्टाइल बीमारियां बढ़ रही हैं। इन बीमारियों से दूर रहने का एक ही आसान तरीका है।  
एक्सरसाइज 
नमाज़ में जिस्मानी कसरत के फायदे भी हैं और इसमें मन को सकारात्मक विचार भी मिलते हैं . नमाज़ हरेक एक्सरसाइज़ से बढ़कर है। नमाज़ में सुना जाने वाला कुर'आन नमाज़ी को उसकी समस्याओं का समाधान भी देता है। नमाज़ इंसान के घमंड को भी ख़त्म करती है और आस पड़ोस से लेकर शहर और दुनिया के लोगों को मस्जिद में इकठ्ठा करके आपस में जोडती भी है। नमाज़ में दिमाग़ी एक्सरसाइज़ भी होती है क्योंकि कुर'आन की बात को उचित सन्दर्भ में समझना भी पड़ता है। ये सब लाभ उसे मिलते हैं जो नमाज़ का हक अदा करता है। उसे सही सही क़ायम  करता है। 

Comments

virendra sharma said…
कहां तक थामेंगे हाथ सफ़र-ए-ज़िन्दगी में ।
वो जो उम्र का हर लम्हा आज जिए बैठै हैं ॥

वो क्योंकर आने लगे अब मेरे अलाव पर ।
जो अपने दामन में आफ़ताब लिए बैठै हैं ।

हर अश आर खूब सूरत काबिले दाद .मर्बेहया.
ram ram bhai
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मंगलवार, 25 सितम्बर 2012
आधे सच का आधा झूठ
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बकरीद की शुभकामनायें भाई ||